ગઝલ,લોકગીત,શેર-સાયરી,કવિતા,ઉર્મિગીત વગેરે તમારી કૃતિ અમને મોકલી આપો તમારા નામ સાથે બ્લોગમા પોસ્ટ કરશું.વોટ્સએપ +91 9537397722/ 9586546474 પર

આજનો મોરલાનો ટહુકો......

Thursday, January 19, 2017

गझ़ल- भरत भट्ट

साव सूक्का हाथनो फेलाव लईने
हुं ऊभो  छुं  वृक्षनो  देखाव  लईने

मौन रहेवानुं  तने  फावे  नहीं ने
तुं नहीं बोली शके सरपाव लईने

हुं अहीं केवल तरसनो प्रश्न पूछुं छुं
कोई त्यां बेठुं छे  कोरी  वाव  लईने

रंकना आंसुथी छलकाई रह्युं ऐ
पात्र  भिक्षानुं फरे  उमराव लईने

जीतवानी  खेवना  आपे पराजय
लोक सौ जीवे छे केवा दाव लईने

- भरत भट्ट

No comments:

Post a Comment